लोग पशुओं को आवारा न छोड़ें, बढ़ाएंगे जुर्माने की राशि : कंवर
कहा- 500 रुपए की जगह 5 हजार करेंगे जुर्माना, एक्ट में होगा संशोधन
शिमला, 5 अगस्त। ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज मंत्री वीरेंद्र कंवर ने कहा है कि लोग पशुओं को आवारा न छोड़ें, सरकार द्वारा जुर्माने की राशि को बढ़ाया जा रहा है। इसे मौजूदा 500 रुपए से बढ़ाकर पांच हजार रुपए किया जा रहा है। इसे लेकर हिमाचल प्रदेश पंचायती राज अधिनियम 2006 में जल्द संशोधन किया जाएगा। वे आज विधानसभा में प्रश्नकाल के दौरान सदस्य रमेश धवाला और पवन काजल के संयुक्त सवाल का जवाब दे रहे थे।
कंवर ने कहा कि हिमाचल प्रदेश पंचायती राज अधिनियम 2006 के तहत गोजातीय पशुओं के मालिक द्वारा ग्राम पंचायत में अपने पशुओं का पंजीकरण अनिवार्य है। साथ ही पंजीकरण के बाद पशुओं को आवारा छोड़ने वाले पशुपालकों पर संबंधित ग्राम पंचायत द्वारा प्रथम अपराध के लिए 500 रुपए और दूसरे व उसके बाद अपराध पर 700 रुपए जुर्माने का प्रावधान किया गया है। उन्होंने कहा कि अब गौ सेवा आयोग की 17 जुलाई को हुई बैठक में प्रस्ताव पास हुआ है कि हिमाचल प्रदेश पंचायती राज अधिनियम 2006 में संशोधन कर जुर्माने की राशि को 500 रुपए से बढ़ाकर 5 हजार रुपए करने का प्रावधान करने की सिफारिश की गई है। उन्होंने कहा कि इसे लेकर पंचायती राज अधिनियम में जल्द संशोधन किया जाएगा।
ग्रामीण विकास मंत्री ने कहा कि प्रदेश में तीन गौ अभ्यारण्य कोटला बड़ोग, थानाकलां थाना खास और हांडा कुंडी में खोले गए हैं और इनमें 867 गौवंश को आश्रय प्रदान किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि गौ सेवा आयोग के गठन के बाद अब तक 198 गौ सदनों में से 101 आयोग से पंजीकृत हैं। उन्होंने कहा कि उस समय 7500 पशु गौ सदनों में थे और अब 17407 गौवंश गौ सदनों और गौ अभ्यारण्य में रखे गए हैं। उन्होंने कहा कि प्रत्येक पशु के रखरखाव के लिए पांच सौ रूपए दिए जा रहे हैं।