बजट चर्चा पर जय राम की दो टूक
धरातल पर काम किया है, धरातल नहीं छोड़ेंगे
शगुन योजना में अब सामान्य श्रेणी की बीपीएल बेटियां भी होंगी शामिल
शिमला, 15 मार्च। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने कहा है कि उनकी सरकार ने प्रदेश में धरातल पर काम किया है और सरकार धरातल को कभी नहीं छोड़ेगी। मुख्यमंत्री आज विधानसभा में राज्य के वर्ष 2021-22 के बजट पर हुई चर्चा का जवाब दे रहे थे। उन्होंने बजट में घोषित शगुन योजना के तहत प्रदेश में सामान्य श्रेणी की बीपीएल वर्ग से संबंधित बेटियों को भी 31 हजार रुपए का शगुन देने का ऐलान किया।
मुख्यमंत्री ने प्रदेश के कर्मचारियों को छठे वेतन आयोग की सिफारिशें लागू करने की प्रतिबद्धता जताई और कहा कि नए वेतनमान के एवज में सरकार कर्मचारियों को अंतरिम राहत के तौर पर 5066 करोड़ रुपए के लाभ दे चुकी है। उन्होंने कहा कि पंजाब सरकार की इस संबंध में रिपोर्ट 31 मार्च तक आएगी। इसका अध्ययन करने के बाद सरकार इसे लागू करने पर फैसला लेगी। उन्होंने प्रदेश में बिजली के मीटर लगाने के लिए अलग-अलग स्थानों पर अलग-अलग कीमत निर्धारित करने के मामले में ऊर्जा मंत्री से विस्तृत रिपोर्ट तलब करने की बात भी कही।
मुख्यमंत्री ने विपक्ष के इन आरोपों की भी खारिज किया कि पुलिस विभाग में कांस्टेबलों की भर्ती अनुबंध आधार पर हुई है। उन्होंने कहा कि कांस्टेबलों की भर्ती नियमित आधार पर होती है और विपक्ष को बोलने से पहले बजट का अध्ययन कर लेना चाहिए। उन्होंने दावा किया कि उनकी सरकार ने तय सीमा के भीतर ही कर्ज लिए हैं और प्रदेश के दिवालिएपन के कगार पर पहुंचाने के विपक्ष के आरोप गलत हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि पूर्व कांग्रेस सरकार ने अपने शासनकाल में प्रदेश पर ऋणों का बोझ 28707 करोड़ रुपए से बढ़ाकर 47906 करोड़ रुपए कर दिया। इस तरह पूर्व सरकार के समय ऋण लेने में 67 फीसदी की बढ़ोतरी हुई, जबकि मौजूदा सरकार के तीन वर्ष के कार्यकाल में प्रदेश में ऋणों का बोझ सिर्फ 60544 करोड़ रुपए तक ही पहुंचा है। इस तरह मौजूदा सरकार के कार्यकाल में ऋण लेने में सिर्फ 26 फीसदी की ही वृद्धि हुई।
मुख्यमंत्री ने दावा किया कि उनकी सरकार ने धरातल पर ही काम किया है और आगे भी धरातल कभी नहीं छोड़ेगी। उन्होंने कहा कि हमने धरातल पर जो काम किया है, उसका असर भी अब लोगों में दिखाई दे रहा है और भाजपा के पक्ष में आए चुनाव नतीजे इसका ताजा उदाहरण हैं। उन्होंने यह भी दावा किया कि उन्हें सिर्फ दो साल ही काम करने का मौका मिला, इसके बावजूद हमने कांग्रेस के तीन साल के कार्यकाल से बेहतर काम किया है।
इससे पूर्व चर्चा के अंतिम दिन आज विपक्ष के चार विधायकों सुखविंद्र सिंह सुक्खू, धनीराम शांडिल, नंद लाल और जगत सिंह नेगी ने हिस्सा लिया और सरकार पर पर खूब तंज सके। कांग्रेस के सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने केंद्र और प्रदेश में दो अवतारों का जिक्र किया और कहा कि जब इस तरह के अवतार होते हैं तो समस्याओं का स्वत ही हल हो जाता है, लेकिन प्रदेश में ऐसा कुछ नजर नहीं आ रहा है। जगत सिंह नेगी ने कहा कि बजट दस्तावेज बजट कम और वसीयत ज्यादा नजर आती है। धनीराम शांडिल और नंद लाल ने चर्चा के दौरान अपने-अपने क्षेत्र के मुद्दे उठाए।
असंतुष्ट विपक्ष का वाकआउट
हिमाचल प्रदेश के वर्ष 2021-22 के बजट पर विधानसभा में हुई चर्चा का आज मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने जवाब दिया। मुख्यमंत्री के जवाब से असंतुष्ट विपक्ष ने जवाब के बीच ही सदन से वाकआउट कर दिया। नेता प्रतिपक्ष मुकेश अग्निहोत्री, मुख्यमंत्री के जवाब के बीच ही अपनी सीट पर खड़े हो गए और सरकार से पूछने लगे कि आखिर वह कितना कर्ज लेगी। उन्होंने कहा कि सरकार ने प्रदेश का दिवालिया निकाल दिया है। इसलिए विपक्ष विरोध स्वरूप सदन से वाकआउट कर रहा है। उन्होंने वाकआउट करने से पहले मुख्यमंत्री से पुरानी पेंशन स्कीम बहाल करने, महंगाई से प्रदेशवासियों को राहत देने के लिए सिलेंडर के दाम कम करने, डीजल और पेट्रोल पर वैट घटाने, अनुबंध की अवधि 2 वर्ष करने और पुलिस कर्मियों के अनुबंध की अवधि भी घटाकर अन्य कर्मचारियों के समान करने की घोषणा करने की मुख्यमंत्री से मांग की।